विधिवत भारत रत्न बने सीएनआर राव और सचिन तेंदुलकर

विधिवत भारत रत्न बने सीएनआर राव और सचिन तेंदुलकर
राष्ट्रपति में साथ-साथ बैठे भारत रत्न वैज्ञानिक सीएनआर राव और क्रिकेटर सचिन रमेश तेंदुलकर
राष्ट्रपति भवन में साथ-साथ बैठे भारत रत्न वैज्ञानिक सीएनआर राव और क्रिकेटर सचिन रमेश तेंदुलकर

नई दिल्ली स्थित राष्ट्रपति भवन में हुए समारोह के दौरान तमाम हस्तियों की मौजूदगी में राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने वैज्ञानिक सीएनआर राव और क्रिकेटर सचिन रमेश तेंदुलकर को आज देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान “भारत रत्न” से सम्मानित किया। भारत रत्न का सम्मान पाने वाले वैज्ञानिक सीएनआर राव 42वें और क्रिकेटर सचिन रमेश तेंदुलकर 43वें भारतीय हैं। इन दोनों हस्तियों को देश भर से बधाईयाँ दी जा रही हैं।

राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी से सम्मान प्राप्त करते सचिन रमेश तेंदुलकर
राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी से सम्मान प्राप्त करते सचिन रमेश तेंदुलकर

भारत रत्न सचिन ने कहा कि ये सम्मान मैं अपनी मां को समर्पित करना चाहूंगा और उनके साथ ही देश की हर उस मां को भी, जो अपने बच्चों के सपनों को सच करने के लिए तमाम तरह के बलिदान देती हैं। इसके साथ ही उन्होंने भारत रत्न का सम्मान हासिल करने के लिए प्रो. सीएनआर राव को बधाई देते हुए कहा कि देश के युवाओं को वैज्ञानिक बनने के लिए प्रोत्साहित करने में उनकी अहम भूमिका रही है, मैं उनकी खुशियों और अच्छी सेहत की कामना करता हूं।

राष्‍ट्रपति भवन में हुए समारोह में मौजूद अंजली तेंदुलकर और बेटी सारा तेंदुलकर।
राष्‍ट्रपति भवन में हुए समारोह में मौजूद अंजली तेंदुलकर और बेटी सारा तेंदुलकर।
सम्मान पाने के बाद खुश सचिन रमेश तेंदुलकर
सम्मान पाने के बाद खुश सचिन रमेश तेंदुलकर

गौरतलब है कि वर्ष 1954 में पहली बार डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन को भारत रत्‍‌न के सम्मान से नवाजा गया था, उनके बाद वर्ष 1954 में डॉ. चंद्रशेखर वेंकट रमन, वर्ष 1954 में ही चक्त्रवर्ती राजगोपालाचारी, वर्ष 1955 में मोक्षगुन्दम विवेस्वरया, वर्ष 1955 में ही जवाहरलाल नेहरू, इसी वर्ष डॉ. भगवान दास, वर्ष 1957 में पं. गोविंद वल्लभ पंत, वर्ष 1958 में धोंडे केशव कर्वे, वर्ष 1961 में पुरुषोत्तम दास टंडन, इसी वर्ष डॉ. बिधान चन्द्र रॉय, वर्ष 1962 में डॉ. राजेंद्र प्रसाद, वर्ष 1963 में डॉ. जाकिर हुसैन, इसी वर्ष पांडुरंग वामन केन, वर्ष 1966 में लाल बहादुर शास्त्री, वर्ष 1971 में इंदिरा गांधी, वर्ष 1975 में वराहगिरी वेंकट गिरि, वर्ष 1976 में कुमार स्वामी कामराज, वर्ष 1980 में मदर टेरेसा, वर्ष 1983 में आचार्य विनोबा भावे, वर्ष 1987 में खान अब्दुल गफ्फार खान, वर्ष 1988 में सिल्विया मरुदुर रामचंद्रन, वर्ष 1990 में नेल्सन मंडेला, इसी वर्ष डॉ. भीमराव अंबेडकर, वर्ष 1991 में सरदार वल्लभभाई पटेल, इसी वर्ष राजीव गांधी और मोरारजी देसाई को भी दिया गया, इनके बाद वर्ष 1992 में सत्यजीत रे, इसी वर्ष मौलाना अबुल कलाम आजाद और जहांगीर रतनजी दादाभाई टाटा, गुलजारी लाल नंदा को दिया गया, फिर वर्ष 1997 में अरुणा आसफ अली, इसी वर्ष डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम, वर्ष 1998 में शंमुखावादिवु सुब्बुलक्ष्मी मदुरै, इसी वर्ष चिदम्बरम सुब्रमण्यम, वर्ष 1999 में पंडित रविशंकर, जयप्रकाश नारायण, गोपीनाथ बोरदोलोई, और प्रोफेसर अम‌र्त्य सेन को दिया गया। वर्ष 2001 में उस्ताद बिस्मिल्ला खान, इसी वर्ष लता मंगेशकर, वर्ष 2009 में पंडित भीमसेन जोशी और अब वर्ष 2014 में वैज्ञानिक सीएनआर राव और सचिन तेंदुलकर को यह सर्वोच्च सम्मान दिया गया है।

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