लॉक डाउन के भंवर में फंसे आजम खान को पैरोल पर जेल से छोड़ने का आग्रह

लॉक डाउन के भंवर में फंसे आजम खान को पैरोल पर जेल से छोड़ने का आग्रह

बदायूं जिले के कद्दावर नेता एवं पूर्व दर्जा राज्यमंत्री आबिद रजा ने रमजान के माह में वरिष्ठ नेता व सांसद आजम खां और उनकी पत्नी-बेटे को पैरोल पर छोड़ने की अपील की है। ऑन लाइन प्रेस कॉन्फ्रेंस करके आबिद रजा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम पत्र भेजने की जानकारी दी।

आजम खान के करीबी आबिद रजा ने प्रधानमंत्री को ई-मेल द्वारा भेजे पत्र में कहा है कि हम आपका अति महत्वपूर्ण मामले में ध्यान आकर्षित करना चाहते हैं, यह पत्र मैं आपको किसी विशेष पार्टी के नेता होने के कारण नहीं बल्कि, हिंदुस्तान के प्रधानमंत्री को लिख रहा हूँ। वर्तमान समय में कोरोना महामारी के कारण आपके आदेश अनुसार पूरे देश में लॉक डाउन एक माह से जारी है, इस समय सांसद आजम खान, उनकी पत्नी विधायक तंजील फातमा व उनके पुत्र अब्दुल्लाह आजम सीतापुर (उत्तर प्रदेश) स्थित जेल में बंद है। चूंकि रमजान का पाक महीना जल्द शुरू होने वाला है। 2 दिन बाद इस पाक महीने में पूरी दुनिया के मुसलमान रोजा रखते हैं तथा देश की दूसरी सबसे बड़ी आबादी (मुसलमान) भी रमजान शरीफ में रोजा, नमाज, अल्लाह की इबादत करते हैं। आजम खान, उनका परिवार भी रोजे रखते हैं, जेल में होने के कारण उनको रोजे में सहरी, इफ्तार, तरावीह, नमाज व इबादत करने में दिक्कतें आयेंगी।

आजम खान का एक लंबा राजनैतिक इतिहास रहा है, वह दो बार के सांसद, चार बार के कैबिनेट मंत्री, 10 बार विधायक रहे हैं तथा उनकी पत्नी तंजील फातमा इस समय रामपुर सीट से विधायक हैं तथा उनके पुत्र अब्दुल्लाह आजम 50,000 वोट से जीत कर स्वार सीट से विधायक चुने गये थे। राजनैतिक द्वेष भावना से साजिश करके आजम खान व उनके परिवार को जेल में डाल दिया गया, हमें कानून पर पूरा भरोसा है। कानून आजम खान के साथ जरूर इंसाफ करेगा।

लॉक डाउन के कारण इस समय उच्च न्यायालय व जिले की सभी अदालतें बंद है, इस कारण आजम खान व उनके परिवार की जमानत की प्रक्रिया नहीं हो पा रही है। देश में लॉकडाउन होने के बाद उत्तर प्रदेश सरकार ने हर जिले में कई सारे सीनियर सिटीजन को जेलों से पैरोल पर रिहा कर दिया लेकिन, द्वेष भावना के चलते सरकार ने आजम खान व उनकी बीमार विधायक पत्नी को जेल से पैरोल पर रिहा नहीं किया।

आप देश के प्रधानमंत्री हैं, लोकसभा में आप जिस सदन के नेता हैं, आजम खान उसी लोकसभा के सदस्य हैं, इस नाते वह आपके लोकसभा परिवार के साथी भी हुए। आपका नारा है “सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास”, हमें उम्मीद है कि आप अपने इस नारे का सम्मान करते हुए आजम खान के प्रकरण में हस्तक्षेप करके हिंदुस्तान की दूसरी सबसे बड़ी आबादी की भावनाओं का सम्मान करेंगे।

आबिद रजा ने पत्र में लिखा है कि हमें आपसे उम्मीद व भरोसा है तथा आपसे अनुरोध है कि आप राजनैतिक दलों की राजनीति से ऊपर उठकर इस समय देश के प्रधानमंत्री होने का दायित्व निभाते हुए सांसद आजम खां व उनके परिवार को रमजान के पाक महीने में पैरोल पर छोड़ने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार के जिम्मेदार नेता व अधिकारियों को प्रभावी आदेश देने की कृपा करें और “सबका विश्वास” के नारे को सार्थक करें। आपको यह खत धर्मनिरपेक्ष देश भारत के नागरिक होने के नाते लिखा है।

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